मयूख बरुआ के लेख

मयूख बरुआ, क्वीयर, भारतीय लेखक हैं और वर्तमान में अमरीका के नॉर्थ कैरोलिना में रहते हैं. फ़िलहाल वे दक्षिण-एशियाई क्वीयर आवाज़ पर आधारित एक कहानी संग्रह पर काम कर रहे हैं जिसके ज़रिए वे कला, यौनिकता, परिवार एवं पौराणिक कथाओं को सामने लाने की कोशिश कर रहे हैं. वे 2023 के 'रूट्स.वाउंड्स.वर्ड्स' नॉन फिक्शन फेलो हैं. उनकी कहानियां एवं लेख केल-फिक्शनस एन्थोलोजी और रोक्सेन गे बुक्स की 'द ऑडेसिटी' में प्रकाशित होकर जल्द ही पाठकों के लिए उपलब्ध होंगे.

लव, सेक्स और क्‍लासरूम

पढ़ाई के दौरान हमें पांच बार फोटोसिंथेसिस के बारे में पढ़ना पड़ा. छठी क्लास से ग्यारहवीं तक हर साल लगातार मैं उसकी परिभाषा भूल जाता था इसलिए मुझे फिर से रटना पड़ता था, बावजूद इसके कि फोटोसिंथेसिस का मतलब मैं अच्छे से समझता था. इसी तरह हर साल मुझे बार-बार सीखना पड़ता था कि मेरी क्‍लास के लड़के दूर से ही मेरी हकीकत सूंघ लेते थे.

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