निरंतर रेडियो

फ से फील्ड

‘फ से फील्ड’ एक पॉडकास्ट शृंखला है जो द थर्ड आई के लर्निंग लैब कार्यक्रम से निकली है… यह सभी कहानियां फील्ड पर ऑफलाइन और ऑनलाइन मेंटरशिप प्रक्रिया के ज़रिए तैयार हुई हैं, जहां हम नारीवादी नज़रिए से नरेटिव बनाने का काम करते हैं. ये कहानियां, ये आवाज़ें, जो हम सुन रहे हैं, महसूस कर रहे हैं ये फील्ड की हमारी समझ को भी खोलने का काम करती हैं.

भारत के अलग-अलग क्षेत्रों से निकली ये कहानियां हर तरह के रूप और रंगों से हमें रूबरू कराती हैं. अब तक इसमें तीन सीरीज़ प्रकाशित हो चुकी हैं.

फ से फील्ड, श से शिक्षा

पॉडकास्ट की पहली सीरीज़ में भारत के ग्रामीण इलाकों से निकले, शिक्षा के अनुभव और उनमें कल्पनाओं के पंख लगाए 10 कहानियों की ऑडियो शृंखला है. इस शृंखला की हर कहानी अपने आप में शिक्षा के अनुभवों और उन्हें देखने के नज़रिए से बिल्कुल जुदा है. वहीं शिक्षा को आधार बनाकर जाति, यौनिकता, स्वास्थ्य और तकनीक से उसके जुड़ाव को भी अलग तरह से देखने की कोशिश करती है. ये कहानियां सवाल करती हैं कि क्लासरूम के बाहर हम शिक्षा को कैसे देखते हैं और उससे भी महत्त्वपूर्ण कि शिक्षा तक पहुंच किसकी है?

फ से फ़ील्ड, ज से जेल

पॉडकास्ट श्रृंखला की इस दूसरी सीरीज़ में सुनिए कहानियां जेल के भीतर से. ये कहानियां प्रयास संस्था के साथ जुड़ी सामाजिक कार्यकर्ताओं द्वारा तैयार की गई हैं. प्रयास, टाटा सामाजिक विज्ञान संस्थान (TISS) का फ़ील्ड एक्शन प्रोजेक्ट है जो आपराधिक न्याय व्यवस्था के क्षेत्र में सामाजिक कार्य करता है. हमने 10 महीने प्रयास संस्था के साथ काम करने वाली पांच सामाजिक कार्यकर्ताओं के साथ मिलकर जेल के भीतर उनकी उपस्थिति, उनका काम, जेल के साथ उनका क्या रिश्ता है जैसे तमाम पहलुओं को जानने-समझने का काम किया. हमने साथ मिलकर कई कार्यशालाएं कीं और जो सामने आया उसे हम आपके साथ साझा कर रहे हैं.

फ से फील्ड, इश्श से इश्क

इश्श्श्श्श्श्श्श…. ‘फ से फील्ड, इश्श से इश्क’ प्यार, फंतासियां, चाहतें, गुस्सा, मोहब्बतें… इस ऑडियो सीरीज़ में सब कुछ है. चाहतों, मज़ा और खतरा के अपने-अपने अनुभव, जो देश के कोने-कोने से निकले हैं. ये कहानियां नारीवादी नज़रिए से यौनिकता को देखने की कोशिश कर रही हैं, जिसके केंद्र में हमारा अवचेतन है.

एपिसोड 1
इस एपिसोड में सुनते है खुशी को. दूसरों की ज़िन्दगी में टांग लड़ाना अक्सर लोगों का फेवरेट टाइम पास होता है. यूं कह लें कि सबसे पसंदीदा काम. खुशी के लिए भी यह नई बात नहीं थी कि लखनऊ की गलियों में राह चलते कोई उसे टोककर सवाल कर दे. पर, एक सवाल ऐसा था जो हर बार उसके दिलो-दिमाग को हिला कर रख देता.
एपिसोड 0
“फ से फ़िल्ड, श से शिक्षा”  भारत के ग्रामीण इलाकों से निकले, शिक्षा के अनुभव और उनमें कल्पनाओं के पंख लगाए 10 कहानियों की यह ऑडियो शृंखला अब आपके सामने है. इस शृंखला की हर कहानी अपने आप में शिक्षा के अनुभवों और उन्हें देखने के नज़रिए से बिलकुल जुदा है.
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