“खुद को एक कलाकार के रूप में देखती हूं और कला का मतलब भी तो खुद को शिक्षित करना ही है”
एजेंटस ऑफ़ इश्क के संदर्भ में मैं कहूंगी कि इसका ढांचा कलात्मक है जो कि ज्ञान या जानकारीपरक होने से कहीं ज़्यादा अहम है. लोगों को यह बताना कि आप जो हैं, आप वैसे ही रह सकते हैं, चीज़ें समझ नहीं आ रहीं, कन्फ्यूज़न है तो कोई बात नहीं ऐसा होता है और चलो हम इस पर बात करते हैं.