विशेष

jaati kahan hai podcast poster

विशेष फीचर: जाति कहां है?

मुम्बई, महाराष्ट्र के रहने वाले रोहन के लिए अपने सरनेम पर गौरव महसूस करना और आरक्षण का विरोध कर रिज़र्व श्रेणी की जातियों को अपनी परेशानी का कारण बताना बहुत आसान था. लेकिन, एक फेलोशिप पर काम करने के दौरान जब रोहन ने निगाह उठाकर अपने आसपास देखने की कोशिश की तब उसे जाति और उससे जुड़े विशेषाधिकारों के बारे में पता चला.

मेरा चश्मा ट्रेलर

मेरा चश्मा, मेरे रूल्स Ep 0: ट्रेलर

‘मेरा चश्मा मेरे रूल्स’ तीन एपिसोड की एक पॉडकास्ट शृंखला है. इसे द थर्ड आई ने ‘पार्टनर फॉर लॉ इन डेवलपमेंट (पीएलडी) के साथ मिलकर तैयार किया है. पीएलडी की मदद से हमारी मुलाकात बिहार, झारखंड, महाराष्ट्र और उत्तर प्रदेश राज्यों से 18 से 20 साल की 4 लड़कियों से हुई.

ट्रेलर: “फ से फ़ील्ड, श से शिक्षा”

भारत के ग्रामीण इलाकों से निकले, शिक्षा के अनुभव और उनमें कल्पनाओं के पंख लगाए 10 कहानियों की यह ऑडियो शृंखला अब आपके सामने है. इस शृंखला की हर कहानी अपने आप में शिक्षा के अनुभवों और उन्हें देखने के नज़रिए से बिलकुल जुदा है.

मेरी कीमती चीज़

क्या आपने कभी ठहरकर उस कलम की ओर देखने की कोशिश की है जो किसी न किसी तरह से हर वक्त आपके आसपास होती है? कलम ही क्यों, कोई बैग, डायरी, झोला, दुपट्टा रोज़मर्रा की भाग-दौड़ में कभी ठहरकर देखें तो एक मीठा आश्चर्य होता है कि कैसे और कब कोई एक चीज़ इतनी खास हो जाती है कि वो हर वक्त हमारे पास होती है.

फिल्मी शहर एपिसोड 3: सिनेमा में समलैंगिकता

इस मास्टरक्लास के दो भागों में – सिनेमा में समलैंगिकता – विषय पर बातचीत करते हुए फिल्म निर्देशक अविजित मुकुल किशोर ने सिनेमा की भाषा, सही एवं सम्मानजनक शब्दावलियों का अभाव, LGBTQI+ से जुड़े लोगों के संघर्ष एवं अपमान से पहचान की उनकी यात्रा को फिल्मी पर्दे पर उनकी प्रस्तुति के क्रम में देखने की कोशिश की है.

सेक्स [वर्क] एंड द सिटी

कोलकाता, एक ऐसा शहर जिसके आधुनिक स्वरूप में उसका इतिहास गहरे समाहित है. कोलकाता शहर के आकार को बनाने में उसके स्थान, उसके बंदरगाहों के माध्यम से लड़े गए युद्धों, सीमाओं के पार से आने वाले प्रवासियों और निश्चित रूप से, ब्रिटिश उपनिवेशवाद एवं लगातार बदलती उनकी नैतिकता और उसके प्रभाव की अहम भूमिका है.

फिल्मी शहर एपिसोड 2: जाति और सिनेमा

फिल्मी शहर के दूसरे एपिसोड ‘जाति और सिनेमा’ में हम, सिनेमा के ज़रिए हमारे आसपास की दुनिया की पड़ताल कर रहे हैं. हमारी कोशिश है बड़े पर्दे की सुनहरी दुनिया की परतों को उघाड़कर ये देखना कि हमारा सिनेमा जाति के सवालों पर क्या और किस तरह की बात करता है?

अंक 003 शहर

शहरों का सपना देखने वाले, शहर के भीतर रहने वाले और शहर को बनाने वाले – इन सभी के ज़रिए हम शहर को देखने का नज़रिया तलाश कर रहे हैं.

ब्लैक बॉक्स एपिसोड 2: पंडिता रमाबाई

ब्लैक बॉक्स के इस नए एपिसोड में रमाबाई का किरदार निभा रही कलाकार रिज़वाना फातिमा, हमें रमाबाई के जीवन के उन अहम हिस्सों से रू-ब-रू करवा रही हैं जिसे आज के समय में हम ज़्यादा गहराई से महसूस कर सकते हैं.

स्वास्थ्य से याद आया…

बिहार में अलग-अलग समूहों से जुड़ी महिलाओं ने ज़ूम वीडियो कॉल पर बात करते हुए स्वास्थ्य से जुड़े हर मुद्दे पर हमसे खुलकर बात की. कम्प्यूटर का सर्वर ख़राब होने की दिक्कत से लेकर स्वास्थ्य केन्द्रों के भूसा घर में तबदील हो जाने की दास्तान यही बताती है कि ग्रामीण भारत में स्वास्थ्य सेवाएं प्राप्त करना अमूमन भूसे के ढेर में सुई खोजने के समान है.

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